लोगो को अक्सर मैडिटेशन करते वक़्त बहुत सारी परेशानियों का सामना करना पड़ता है. कुछ लोगो को ध्यान में अच्छे अनुभव नहीं हो पाते है जिसकी वजह से उन्हें मैडिटेशन करना बोरियत लगने लगता है.
आज की पोस्ट में हम बात करेंगे meditation posture mistake यानि ध्यान में बैठने का गलत तरीका, common mistake in meditation जैसे की सही अनुभव नहीं हो पाना, खुद को ध्यान में सहज महसूस ना करना ऐसे ही कई गलतिया जो ध्यान में की जाती है.
आज हम ऐसी कुछ top mistake during meditation के बारे में बात करने वाले है.
क्या आपने कभी अपना कुछ समय ध्यान लगाने में बिताया है ? हम अक्सर लोगो से नेट से ध्यान के लाभ सुन कर या किसी के कहने पर ध्यान का अभ्यास करना शुरू करते है कुछ समय तक सब कुछ वैसे ही होता है जैसे की हमें बताया जाता है लेकिन इसके बाद हमें कुछ भी अलग अनुभव नही होता है.
बहुत से लोगो की शिकायत रहती है की उन्हें ध्यान में कुछ समय तक सब सही अनुभव रहते है लेकिन बाद में वो कुछ भी अनुभव नहीं कर पाते है उल्टा इससे उनमे irritation बढ़ी है जिसकी वजह से वो मैडिटेशन करना बिच में ही छोड़ देते है.
आज की पोस्ट में हम बात करने वाले है की हम ध्यान में ऐसी कौनसी mistake करते है जिसकी वजह से सही अनुभव नहीं होते है.
top mistake in meditation in hindi
अगर आप सिर्फ किताबो से पढ़ कर, किसी से भी सुनकर या बगैर किसी एक्सपर्ट की सलाह के सीधे ही meditation ki ghar par practice करना शुरू कर देते है तो इस बात के 99% चांस है की आपको सही अनुभव ना मिले और आपको meditation की वजह से physically or mentally damage या harm पहुंचे.
ध्यान करने से पहले आपको निचे दिए पॉइंट को समझना चाहिए तभी आपको बेहतर अनुभव और अच्छे परिणाम ध्यान में मिल सकते है.
# आप ध्यान में आने वाले व्यवधान को समझ नहीं पाते है
ज्यादातर लोग जो meditation की practice ghar में beginner होते है, ध्यान लगाने से पहले head-phone लगा लेते है, दरवाजा लॉक कर लेते है और तमाम ऐसी चीजे दूर कर लेते है जो उन्हें ध्यान में डिस्टर्ब कर सकती हो. क्या ये सही है ? अक्सर लोगो को लगता है की इससे वो बेहतर प्रैक्टिस कर सकते है.
लेकिन नयी खोज से ये सामने आया है की ऐसा करना सही नहीं है. ये सबसे बड़ी mistake in meditation है.
अगर आप इन सब माध्यम का use मैडिटेशन में करते है तो आप पाते है की जब भी कोई अनजाने में ही आपके पास आता है तो आप ज्यादा distract हो जाते है.
मान लीजिये की आपने हेड फोन लगा लिया और ध्यान कर रहे है, जब तक हेड फोन चलता है आप अच्छा अभ्यास करते है लेकिन जब वो बंद हो जाता है तब ?
आपका ध्यान उसकी वक़्त टूट जाता है जब हेड फोन बंद हो जाता है. ठीक इसी तरह आप दरवाजा लॉक कर बैठे है ध्यान की अवस्था में और अचानक ही किसी ने दरवाजा नॉक कर दिया, आपका ध्यान उसी वक़्त ना सिर्फ टूटता है बल्कि आप irritate feel करने लगते है.
ये सब उनके लिए कॉमन है जो ध्यान की प्रारम्भिक अवस्था में है. ऐसा क्यों ?
इन सब चीजो का ध्यान लगाने से कोई कोई रिलेशन नहीं है की आप इन चीजो का प्रयोग करे तो बेहतर अनुभव मिलेंगे बल्कि distraction तो meditation में observe किया जाता है.
इसे सही तरीके से करने के लिए ध्यान की अवस्था में सबसे पहले उन चीजो को observe किया जाता है जो आपके mind को distract करती है. जब इन सबकी पहचान हो जाती है तब इन्हें ignore किया जाता है ना की इनसे बचा जाता है.
# mistake in meditation – आप सिर्फ बाह्य माध्यम पर निर्भर रहते है
मैडिटेशन जैसे ही पोपुलर हुआ इसके साथ ही कुछ मैडिटेशन म्यूजिक और apps भी पोपुलर हुए है. इसकी वजह है की ये डायरेक्ट आपके विचारो पर असर डालते है और आपको रिलैक्स होने में मदद मिलती है जिसे आप ध्यान में बेहतर अनुभव समझते है.
लेकिन अब ऐसा नहीं है क्यों की ये चीजे धीरे धीरे हमारी जरुरत बन जाती है और इनके बगैर हम मैडिटेशन कर ही नहीं पाते है.
एक्सपर्ट का मानना है की अगर हम सिर्फ इन चीजो के आधार पर ध्यान लगाते है तो सिर्फ हमारा बाह्य मन ही विचारो द्वारा गाइड किया जाता है लेकिन अंतर्मन का क्या ?
वो तो इस चीज से अछूता रहता है, इस अवस्था में आप बिलकुल वैसे ही है जैसे की दो में से किसी एक को ज्यादा महत्व देना. इससे ये होगा की आपका सिर्फ बाहरी मन कण्ट्रोल और गाइड होता है लेकिन अंतर्मन वैसे का वैसे ही रहता है.
इससे बचे हालाँकि आप शुरू में इसका प्रयोग कर सकते है लेकिन धीरे धीरे अभ्यास में खुद के बॉडी और mind को involve करे ब्लॉग पर इसके लिए न्यास ध्यान और शवासन की सबसे अच्छी पोस्ट है जो आपको इसमें सहायक सिद्ध हो सकती है. इसमें आप खुद अपने बॉडी और mind को स्टेप्स में गाइड कर बेहतर अनुभव कर सकते है.
# biggest mistake in meditation – आप खुद को ध्यान में खोया हुआ पाते है
सांसो पर ध्यान लगाना शुरू से ही एक विधि है ध्यान में विचारो से छुटकारा पाने की हम जैसे ही खुद को सांसो पर फोकस कर लेते है तो अपने आप ही कुछ समय बाद हम पाते है की हम खुद को विचारो से मुक्त हुआ पाते है यानि विचार कण्ट्रोल कर हो जाते है.
लेकिन क्या उन विचारो को कण्ट्रोल करना ही आपका उदेश्य था ? ये तो बिलकुल वैसे ही है जैसे की problem को आगे सरका देना. कुछ देर के लिए problem से दूर होना solution नहीं है. ज्यादातर problem हमें ध्यान की अवस्था में महसूस होती है जो दूसरी किसी अवस्था में नहीं होती है.
ध्यान में सांसो द्वारा किसी विचार को दबा देना या ignore कर देना सिर्फ एक ray of light है अगर आपको वास्तव में light of मैडिटेशन awareness को feel करना है तो आपको इसमें बदलाव लाना पड़ेगा. ये अवस्था आपकी लाइफ की problem को thought के रूप में आपके सामने लाती है जिससे आपको ही फेस करना पड़ेगा.
जब भी आपको ध्यान में ऐसी problem आये खुद की feeling को उन problem के साथ जोड़ दो. आपको उन problem को ignore नहीं समझने की जरुरत है तभी वो solve हो सकती है और वो भी ध्यान में फोकस की अवस्था में आने से पहले.
अगर आप ऐसा नहीं करेंगे तो आप उन सभी problem को कुछ समय के लिए ignore कर देंगे जो कुछ समय बाद फिर से वापस आने लगती है.
# आप अपने बॉडी टाइप के हिसाब से गलत ध्यान कर रहे है
ध्यान लगाते वक़्त कई बार ऐसा होता है की हम physically comfort feel नहीं कर पाते है. इसकी वजह होती है हमारा शरीर के अनुसार ध्यान के प्रकार का चुनाव ना कर पाना. मान लीजिये आप सही से बैठ नही सकते और आप पद्मासन लगाने की कोशिश कर रहे है, क्या आप कर पायेंगे ?
नही इसलिए ध्यान लगाने से पहले ये सुनिश्चित कर ले की जिस आसन में आप ध्यान लगा रहे है या इसकी विधि कर रहे है आप इसमें पूरी तरह comfortable हो.
ध्यान कभी भी मन के विचारो से लड़ने के लिए नहीं किया जाता ये सिर्फ एक स्टेप्स है इसलिए ध्यान की उसी विधि का चुनाव करे जिसमे आप खुद को comfortable महसूस करे ना की खुद को परेशान.
# main mistake in meditation – ध्यान की एक ही विधि का चनाव करना’
कई लोग ध्यान की सिर्फ एक ही विधि के पीछे अपनी लाइफ का बहुत सारा समय बिता देते है और अंत में उन्हें realize होता है की उनके लिए तो कोई और विधि बेहतर साबित हो सकती थी. इसलिए ध्यान लगाने से पहले कई विधि का चुनाव करे जो सबसे अच्छी लगे उसी विधि पर अभ्यास करे. आज सबसे ज्यादा अगर कोई विधि पोपुलर है तो वो है विपासना ( vipassna meditation ) विधि या फिर सांसो पर ध्यान लगाने की विधि.
ये जरुरी नहीं की आपके लिए भी ये विधि पूरी तरह सहज हो. इन विधि के अलावा mantra meditation, visualization meditations ( काल्पनिक अवस्थाओ पर ध्यान ), walking meditations ( टहलते हुए ध्यान ), contemplation meditations जैसी भी बहुत सारी विधि है जिन पर आप ये देख सकते है की कौनसी आपके लिए बेस्ट है.
अगर आपने अपने लिए बेस्ट विधि का चुनाव कर लिया है और अच्छे अनुभव मिल रहे है तो बढ़िया है लेकिन अगर ऐसा नहीं है तो आप अन्य विधियों को अजमा कर देखे आपको बेनिफिट और अच्छा अनुभव जरुर मिलेगा.
# किसी भी ध्यान की विधि में खुद को लम्बे समय तक ना रख पाना
कुछ लोग होते है जो थोड़े ही टाइम के लिए किसी एक विधि पर टिक पाते है. मान लीजिये आपने सांसो पर ध्यान की विधि का शुरू में चुनाव किया आपको 7-8 दिन तक अनुभव नहीं मिले तो आपने विपस्सना शुरू कर दी इसमें भी वही स्थिति रही तो आपने मंत्र ध्यान शुरू कर दिया.
क्या ऐसा करना सही है. ध्यान की सिर्फ सही विधि का चुनाव ही काफी नहीं बल्कि उस पर टिके रहना भी सफल ध्यान का हिस्सा है. जरुरी नही की आपको शुरुआती दिनों में ही सही अनुभव मिलना शुरू हो जाए.
कुछ दिन तक अगर आपको किसी एक विधि में अनुभव नही मिल रहे तो उसकी वजह को तलाशने की कोशिश करे बजाय की विधि को बदलने के. दुसरे शब्दों में कहे तो
“ध्यान की विधि के तरीके बदलाव लाये बजाय विधि को बदलने के”
अगर meditation की कोई विधि आपको physically और mentally uncomfortable feel करवाती है तो उसे बदल लेना ही बेहतर रहता है.
# common mistake in meditation – आपका लक्ष्य ही लॉजिक से परे है
किसी ने आपको कह दिया की ये ध्यान का अभ्यास कर लो और आप खुद को सुपरमैन बना लोगे, ये अभ्यास करने पर आप में ये शक्ति आ जाएगी खासतौर से tratak se sammohan shakti hasil करना. ऐसा कभी नहीं हो सकता अगर आपने पहले कभी उस फील्ड का अभ्यास ना किया हो.
ये बिलकुल वैसे ही है जैसे छोटे से बच्चे को 12 क्लास की किताबे पढ़ाना जबकि उसने 5 क्लास ही नहीं पढ़ी. ध्यान कोई जादू नहीं है जो चुटकियो में आपकी समस्या का समाधान कर दे, ना ही ये कम टाइम में बेहतर परिणाम दे सकता है इसलिए हमेशा लॉजिक के साथ अभ्यास करे.
हम हमारे ब्लॉग पार कही भी कम टाइम में ही सुपर पॉवर बन जाने वाली पोस्ट नहीं करते क्यों की सबको सही गाइड करना ही हमारा मकसद है वो इसलिए क्यों की कोई भी अभ्यास वक़्त के साथ और स्टेप्स में ही पूर्ण होता है.
इसलिए जब भी आपको लगे की आपको ध्यान में बेहतर अनुभव नहीं मिल रहे या फिर जो आपने सोचा वो नहीं मिला तो खुद को समझाए की अभ्यास में धेर्य के साथ ही बेहतर अनुभव मिल सकते है.
# आपने अभी तक सही जानकारी जुटाई ही नहीं है
सिर्फ एक किताब पढ़ लेना, एक ही व्यक्ति से जानकारी लेना या फिर एक ही जगह से सुचना प्राप्त कर ध्यान की विधि का अभ्यास करना काफी नहीं है. सही व्यक्ति हमेशा 1 चीज की 10 जगह से जानकारी जुटाता है, गुण और दोष की जानकारी पता करता है इसके बाद ही अभ्यास शुरू करता है. अभ्यास करने से पहले
- अपनी शंका का समाधान करना
- अभ्यास के बारे में ज्यादा से ज्यादा जानकारी जुटाना
- गुण और दोष यानि फायदे और नुकसान की सही जानकारी का पता करना
- अभ्यास से जुड़ी हर संभव जानकारी हर जगह से जुटाना
- सबसे अंत में अभ्यास से जुड़ी हर चीज को जुटाना
ये सब कर ले ताकि आपको सही और बेहतर अनुभव मिल सके. अगर आप इनके बगैर अभ्यास करते है तो आप कभी इसमें सफलता हासिल नहीं कर पाएंगे उल्टा meditation से आपको physical और mental damage और harm जरुर हो जायेगा.
यही वजह रहती है की जो लोग मंत्र से जुड़ी ध्यान या अन्य साधना करते है वो कभी सफल नहीं होते है.
Read : 8 मुख्य कारण जिनकी वजह से वशीकरण का उपाय काम नहीं करता है वशीकरण के फ़ैल होने की सबसे बड़ी वजह
top 10 mistake in meditation we made in begining
अब तो आप समझ ही गए होंगे की dhyan me safal hone ke liye kya avoid kare, किन चीजो को अपनाए ताकि अभ्यास में बेहतर अनुभव मिले.
अगर आप ऐसा कर लेते है तो आप पहले से भी ज्यादा बेहतर अनुभव हासिल कर सकते है. ध्यान में अपनी गलतियों को पहचाने और उन्हें सही करे यही आपके बेहतर अनुभव के लिए काफी है.
आज की पोस्ट mistake in meditation आपको कैसी लगी हमें जरुर बताये.
ध्यान लगाना अब आपके लिए बोरियत से भरा नहीं रहेगा. आप खुद एक जगह शांत होकर बैठना पसंद करेंगे, इसलिए नहीं की आप ऐसा सोचते है बल्कि इसलिए की ऐसा कारण आपको अच्छा लगता है. कोई भी चीज आपको परेशान नहीं कर रही और आप अब खुद को बेहद शांत और खुश महसूस करते है.
mistake in meditation पोस्ट पसंद आये तो कमेंट और शेयर करना ना भूले. ब्लॉग की लेटेस्ट अपडेट को सीधे मेल बॉक्स में पाने के लिए हमें subscribe करे.
Thanks for your valuable guidance